हरिद्वार में जनपदवासियों की समस्याओं के त्वरित समाधान हेतु जिलाधिकारी मयूर दीक्षित की अध्यक्षता में प्रत्येक सोमवार को जिला कार्यालय सभागार में जन सुनवाई कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। इस कार्यक्रम के दौरान विभिन्न विभागों से संबंधित कुल 63 शिकायतें दर्ज की गईं, जिनमें से 30 समस्याओं का मौके पर ही निस्तारण कर दिया गया, जबकि शेष शिकायतों को संबंधित विभागों को तत्काल कार्यवाही के लिए भेजा गया।
जन सुनवाई में भूमि विवाद, अतिक्रमण, जलभराव, पेयजल, विद्युत, मुआवजा आदि से संबंधित मामले प्रमुख रूप से सामने आए। ग्राम प्रधान राजपाल द्वारा ग्राम ढाढ़ेकी ढाणा में सोनाली नदी से हो रहे भूमि कटाव को रोकने के लिए तटबंध निर्माण की मांग की गई। भारती देवी ने बिजली बिल कम करने, साजिद पुत्र जाहिद (राजपुर) ने भूमि की पैमाइश, और दिपेंद्र सैनी (ग्राम जौंरासी) ने प्राचीन शिव मंदिर की जमीन खाली कराने हेतु प्रार्थना पत्र प्रस्तुत किया।
मां मनसा देवी मंदिर परिसर के सभी प्रसाद विक्रेताओं ने मंदिर परिसर में पुनः फूल-प्रसाद विक्रेताओं को स्थापित किए जाने की मांग की। ग्राम महादेव खुर्द नागल, रुड़की के ग्रामीणों ने श्मशान भूमि के बीचों-बीच बनाए जा रहे नाले की जांच की मांग की। रामप्रसाद (बंजारावाला ग्रांट, भगवानपुर) ने अपनी जलमग्न भूमि पर हो रहे अवैध निर्माण को हटाने की गुहार लगाई। अबरार अयूबी (सलेमपुर) ने ग्रामसभा की भूमि पर अवैध कब्जा रोकने, जबकि मंजीत सिंह (ग्राम पंचायत आदर्श टिहरी नगर) ने कूड़ा निस्तारण केंद्र व शौचालय निर्माण की मांग को लेकर आवेदन दिया।
जिलाधिकारी ने उपस्थित अधिकारियों को निर्देशित किया कि जनसुनवाई में प्राप्त शिकायतों का त्वरित एवं समयबद्ध निस्तारण सुनिश्चित किया जाए। किसी भी प्रकार की लापरवाही या शिथिलता बरतने पर संबंधित अधिकारियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
इसके अतिरिक्त जिलाधिकारी ने सीएम हेल्पलाइन की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को निर्देश दिए कि एल-1 स्तर की 351 और एल-2 स्तर की 112 लंबित शिकायतों का शीघ्र निस्तारण सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि सीएम हेल्पलाइन पर प्राप्त सभी शिकायतों को संवेदनशीलता एवं गंभीरता से लेते हुए उनका समाधान किया जाए, जिससे आम जनता को शीघ्र राहत मिल सके।






